नई दिल्ली    राष्ट्रपति चुनाव से पहले तेलंगाना के CM के चंद्रशेखर राव (KCR) और बिहार के CM नीतीश कुमार की एक्टिविटी से भाजपा अलर्ट हो गई है। सोमवार देर रात भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा और गृहमंत्री अमित शाह के बीच जीत की रणनीति को लेकर लंबी चर्चा हुई। रिपोर्ट के मुताबिक राष्ट्रपति चुनाव से पहले हो रहे राज्यसभा चुनाव को लेकर भी दोनों नेताओं के बीच चर्चा हुई। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा के आवास पर 4 घंटे तक बैठक चली, जिसमें सहयोगियों को जोड़ने से लेकर कैंडिडेट पर एक राय बनाने पर चर्चा हुई। वर्तमान में भाजपा की अगुआई वाले NDA के पास 48.9% और विपक्ष के पास 51.1% वोट है। ऐसे में अगर विपक्षी दल एकजुट हो गए, तो 2024 से पहले मुश्किलें बढ़ सकती हैx।

पटनायक और रेड्डी को साथ लाने की तैयारी

सूत्रों के मुताबिक ओडिशा के CM नवीन पटनायक और आंध्र प्रदेश के CM जगनमोहन रेड्डी को भाजपा राष्ट्रपति चुनाव में साथ लाने की तैयारी कर रही है। अगर, दोनों में से कोई भी समर्थन कर देता है, तो NDA का राष्ट्रपति फिर से बन सकता है। सूत्रों के अनुसार ओडिशा के CM से संपर्क साधने का जिम्मा रेल मंत्री अश्विणी वैष्णव और आंध्र प्रदेश के CM से संपर्क साधने का जिम्मा जीवीएल नरसिम्हा को दिया गया है।

नीतीश कुमार पर भाजपा के भीतर सस्पेंस

2012 में NDA में रहते हुए नीतीश कुमार ने UPA उम्मीदवार प्रणब मुखर्जी को समर्थन दिया था। वहीं 2017 के चुनाव में महागठबंधन में रहते हुए नीतीश ने NDA कैंडिडेट रामनाथ कोविंद को सपोर्ट किया था। पिछले कुछ दिनों से नीतीश कुमार लगातार जातीय जनगणना समेत कई मुद्दों पर एक्टिव हैं। सूत्रों के अनुसार इन सब वजहों को देखते हुए भाजपा के भीतर भी राष्ट्रपति चुनाव में नीतीश के साथ आने पर सस्पेंस है।

KCR कर रहे विपक्षी नेताओं की लामबंदी

तेलंगाना के मुख्यमंत्री KCR राष्ट्रपति चुनाव से पहले लगातार विपक्षी नेताओं को लामबंद करने में जुटे हैं। रविवार को वे दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव से मिले। KCR इससे पहले शरद पवार से मिल चुके हैं। वे गैर-कांग्रेसी और गैर-भाजपा कैंडिडेट उतारने के पक्ष में है। इसको लेकर वे बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से भी मुलाकात कर सकते हैं।