हरदा ।  कृषि मंत्री कमल पटेल के गृह जिले में सल्फास खाने से एक किसान की मौत हो गई। किसान पर साहूकारों का कर्ज चढ़ गया था, जिसे किसान चुका नहीं पा रहा था। कर्ज चुकाने के लिए किसान ने करीब दस एकड़ जमीन भी बेची, लेकिन फिर भी वह कर्ज के दलदल से बाहर नहीं आ सका। इसके बाद किसान ने जहर खाने जैसा घातक कदम उठा लिया। मामला डगावांशंकर गांव का है, जहां किसान राजेश करोड़े (44) ने साहूकारों के तकादे से परेशान होकर 7 जून को सल्फास खा लिया था। शुक्रवार को किसान की उपचार के दौरान मौत हो गई। स्वजन का रो रोकर बुरा हाल है वहीं रिश्तेदार और समाज के लोग भी इस घटना से काफी आहत हैं। 7 जून को सल्फास खाने के बाद स्वजन उन्हें जिला अस्पताल में ले गए, जहां उनका उपचार चल रहा था। इसके बाद उन्हें एक नर्सिंग होम में भी रखा गया था, लेकिन शुक्रवार को उनकी तबीयत ज्यादा बिगड़ने पर दोबारा जिला अस्पताल लाया गया। जिला अस्पताल में शुक्रवार दोपहर करीब सवा बारह बजे किसान की सांसें थम गईं।

तबीयत में नहीं हुआ सुधार

सिराली थाना क्षेत्र के डगावाशंकर का का यह मामला है। किसान के बेटे ने बताया कि पिता पर करीब 40 लाख रुपये का कर्ज था। इस कर्ज के कारण 10 एकड़ जमीन भी बिक गई। मृतक के बेटे वीरेंद्र का कहना है कि उसके पिता ने कर्ज से परेशान होकर आत्महत्या की है। वीरेंद्र ने बताया कि उनके पिता पर 40 लाख का कर्ज था। हमारे पास 10 एकड़ जमीन थी वो भी कर्ज के कारण बेच दी।

साहूकारों के कर्ज से परेशान होकर पिता ने 7 जून को खेत में सल्फास खाई थी, जिन्हें उपचार के लिए जिला अस्पताल लाए थे। उनकी आज सुबह इलाज के दौरान मौत हो गई। इस संबंध में अस्पताल चौकी प्रभारी संदीप कुशवाहा ने बताया कि यह मामला हरदा जिले के डगावाशंकर गांव का है। किसान राजेश पिता लक्ष्मीनारायण करोड़े ने सल्फास खा लिया था। उनका उपचार जिला अस्पताल में चल रहा था, जहां शुक्रवार सुबह उनकी मौत हो गई। कुशवाह ने बताया कि किसान पर कितना कर्ज है इस बात की पुष्टि जांच के बाद ही हो पाएगी। शव का पोस्टमार्टम कराने के बाद मर्ग कायम कर जांच में लिया है।