नई दिल्ली । इस बार मानसून की दस्तक समय के साथ होने के साथ दक्षिण पश्चिम मानसून आगे बढ़ते हुए पूरे उत्तर प्रदेश, दिल्ली, हिमाचल प्रदेश, जम्मू कश्मीर और लद्दाख पर छा गया है। राजस्थान, पंजाब और हरियाणा के कुछ हिस्सों पर भी गुरुवार को मानसून छा गया। मौसम विभा (आईएमडी) का कहना है कि अगले 24 घंटों के अंदर मानसून पूरे पंजाब, हरियाणा के अलावा राजस्थान के कुछ हिस्सों को कवर कर लेगा। इससे इन इलाकों में अच्छी बारिश होगी। दिल्ली में तो मानसून की पहली बारिश ने ही 14 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है।
दिल्ली में सफदरजंग वेधशाला ने गुरुवार सुबह साढ़े आठ बजे से महज छह घंटों के अंदर 110 मिलीमीटर बारिश दर्ज की, जो कम से कम 14 वर्षों में जून में किसी दिन होने वाली सबसे ज्यादा बारिश है। राजधानी में 18 जून 1936 को 235.5 मिमी. बारिश हुई थी जो अब तक का रिकॉर्ड है। दिल्ली में जून में औसतन 65.5 मिमी. बारिश होती है। मौसम विभाग के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी से लेकर पंजाब तक कम दबाव का क्षेत्र बना हुआ है। बंगाल की खाड़ी और अरब सागर से नमी वाली हवाएं देश के उत्तरी हिस्सों तक आ रही हैं। इसकी वजह से हिमाचल, पंजाब, यूपी और पश्चिमी राजस्थान में 1 जुलाई को भी कहीं-कहीं तेज बारिश हो सकती है। दिल्ली, हरियाणा में 1 और 2 जुलाई को अच्छी बारिश का अनुमान है। पूर्वी राजस्थान में 3 जुलाई तक और उत्तराखंड में अगले 5 दिनों तक कुछ इलाकों में तेज बारिश हो सकती है।
पश्चिमी मध्य प्रदेश के कुछ हिस्सों में शुक्रवार को बेहद तेज बारिश की संभावना जताई गई है। इसके अलावा, शुक्रवार को झारखंड में, 2 जुलाई तक बिहार में, ओडिशा में अगले 5 दिनों तक भारी बारिश होगी। मौसम विभाग का कहना है कि दक्षिणी गुजरात से लेकर उत्तरी कर्नाटक के तटीय इलाकों में कम दबाव के क्षेत्र के बीच तेज हवाएं चल रही हैं। इसकी वजह से गुजरात, तमिलनाडु, पुडुचेरी में 2-3 जुलाई तक और कोंकण, गोवा, तटीय कर्नाटक, केरल, दक्षिणी कर्नाटक में अगले 5 दिनों तक अच्छी खासी बारिश होगी। कोंकण और गोवा में 2 जुलाई तक कुछ इलाकों में बेहद तेज बारिश का भी अनुमान है। गुरुवार को हरियाणा के कई इलाकों में मानसूनी बादल बहुत जोरदार बरसे। दिल्ली के अलावा चंडीगढ़, गोवा, तटीय कर्नाटक, हिमाचल और पश्चिमी मध्य प्रदेश में भी तेज बारिश दर्ज की गई।